Thursday, 29 June 2017

पुरुष सुक्तम्

पुरुष सुक्तम्

सहस्रशीर्षा पुरुषः सहस्राक्षः सहस्रपात् ।
स भूमिं विश्वतो वृत्वात्यतिष्ठद्दशाङुलम् ॥१॥
पुरुष एवेदं सर्वं यद्भूतं यच्च भव्यम् ।
उतामृतत्वस्येशानो यदन्नेनातिरोहति ॥२॥
एतावानस्य महिमातो ज्यायाँश्च पूरुषः ।
पादोऽस्य विश्वा भूतानि त्रिपादस्यामृतं दिवि ॥३॥
त्रिपादूर्ध्व उदैत्पूरुषः पादोऽस्येहाभवत्पुनः ।
ततो विष्वङ् व्यक्रामत्साशनानशने अभि ॥४॥
तस्माद्विराळजायत विराजो अधि पूरुषः ।
स जातो अत्यरिच्यत पश्चाद्भूमिमथो पुरः ॥५॥
यत्पुरुषेण हविषा देवा यज्ञमतन्वत ।
वसन्तो अस्यासीदाज्यं ग्रीष्म इध्मः शरद्धविः ॥६॥
तं यज्ञं बर्हिषि प्रौक्षन्पुरुषं जातमग्रतः ।
तेन देवा अयजन्त साध्या ऋषयश्च ये ॥७॥
तस्माद्यज्ञात्सर्वहुतः सम्भृतं पृषदाज्यम् ।
पशून्ताँश्चक्रे वायव्यानारण्यान् ग्राम्याश्च ये ॥८॥
तस्माद्यज्ञात्सर्वहुत ऋचः सामानि जज्ञिरे ।
छन्दांसि जज्ञिरे तस्माद्यजुस्तस्मादजायत ॥९॥
तस्मादश्वा अजायन्त ये के चोभयादतः ।
गावोः ह जज्ञिरे तस्मात् तस्माज्जाता अजावयः ॥१०॥
यत्पुरुषं व्यदधुः कतिधा व्यकल्पयन् ।
मुखं किमस्य कौ बाहू का ऊरू पादा उच्येते ॥११॥
ब्राह्मणोऽस्य मुखमासीद् बाहू राजन्यः कृतः ।
ऊरू तदस्य यद्वैश्यः पद्भ्यां शूद्रो अजायत ॥१२॥
चन्द्रमा मनसो जातश्चक्षोः सूर्यो अजायत ।
मुखादिन्द्रश्चाग्निश्च प्राणाद्वायुरजायत ॥१३॥
नाभ्या आसीदन्तरिक्षं शीर्ष्णो द्यौः समवर्तत ।
पद्भ्यां भूमिर्दिशः श्रोत्रात्तथा लोकाँ अकल्पयन् ॥१४॥
सप्तास्यासन् परिधयस्त्रिः सप्त समिधः कृताः ।
देवा यद्यज्ञं तन्वाना अबध्नन्पुरुषं पशुम् ॥१५॥
यज्ञेन यज्ञमयजन्त देवास्तानि धर्माणि प्रथमान्यासन् ।

ते ह नाकं महिमानः सचन्त यत्र पूर्वे साध्याः सन्ति देवाः ॥१६॥

फिटकरी के चमत्कारिक उपाय ||

|| फिटकरी के चमत्कारिक उपाय ||
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जो मनुष्य की काया ‘फिट’ करे उसे ‘फिटकरी’ कहते हैं यह लाल व सफेद दो प्रकार की होती है। फिटकरी एक प्रकार का खनिज है जो प्राकृतिक रूप में पत्थर की शक्ल में मिलता है। इस पत्थर को एल्युनाइट कहते हैं। इससे परिष्कृत फिटकरी तैयार की जाती है। खड़े नमक की तरह दिखने वाली फिटकरी सेंधा नमक की तरह चट्टानों से मिलती है। इसका रासायनिक नाम हैपोटेशियम एल्युमिनियम सल्फेट। पोटाश एलम का इस्तेमाल रक्त में थक्का बनाने के लिए किया जाता है। इसीलिए दाढ़ी बनाने के बाद इसे चेहरे पर रगड़ते हैं ताकि छिले-कटे भाग ठीक हो जाएं। इसके कई तरह के औषधीय उपयोग हैं।
* बुरे सपनों से मिलेगी मुक्ति :
आप सोने वाले बिस्तर के नीचे काले कपड़े में फिटकरी बांधकर रखें। इससे बुरे स्वप्न आना, नींद में चमकना या किसी अनजान भय से व्यक्ति मुक्त हो जाता है।किसी भी मंगलवार या रविवार के दिन फिटकरी का एक टुकड़ा बच्चे के सिरहाने रख दें। रात में बच्चे को सोते समय बुरे स्वप्न नहीं आएंगे और न ही बच्चा चमकेगा या चिखेंगा।
* बरकत के लिए :
किसी दुकान या प्रतिष्ठान के मुख्य द्वार पर काले कपड़े में फिटकरी बांधकर लटका देने से बरकत बरकरार रहती है।
* धन प्राप्ति के लिए :
रोज रात को सोते समय अपने दांत फिटकरी से साफ करेंगे तो लाभ होगा। इसके अलावा आप कभी कभार फिटकरी के पानी से स्नान भी करें।

घड़ी

🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏🙏           घड़ी जहां हमें समय की सही जानकारी देती है वहीं वास्तु के अनुसार से हमारे परिवार के सदस्यों पर सकारात्मक ऊर्जा का प्रभाव पड़ता है। घड़ी भी वातावरण में बहती हुई सकारात्मक ऊर्जा को संकलित करती है जिसका प्रभाव घर के सदस्य पर पड़ता है। बंद घड़ी को हानिकारक माना जाता है। बंद घड़ी नकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती है और पॉजीटिव एनर्जी का प्रभाव कम करती है।
अगर आप अपने घर में घडी जैसी समय सूचक वस्तु को व्यवस्थित करते समय वास्तुशास्त्र के इन सिद्धांतों का ध्यान रखेंगी तो यह आपके परिवार के लिए निश्चित रूप से फायदेमंद साबित होगा :—
1. घडी को दीवार पर लगाने के लिए उत्तर, पूर्व एवं पश्चिम दिशा का ही चुनाव करें। कभी भी दक्षिण दिशा की दीवार पर घडी न लगाएं। यदि घडी दक्षिण दिशा की दीवार पर लगी होगी तो कार्य प्रारंभ करने से पहले व दिन में कई बार आपका ध्यान दक्षिण दिशा की ओर जाएगा। इस तरह आप बार-बार दक्षिण दिशा की ओर से आने वाली नकारात्मक ऊर्जा ही प्राप्त करती रहेंगी।
2. घडियों के प्रयोग में एक दूसरी विशेष सावधानी यह भी रखनी चाहिए कि किसी भी तरह की घडी चाहे वह टाइम पीस हो या फिर दीवार घडी इन्हें रात को सोते समय सिरहाने से थोडी दूरी पर ही रखें, क्योंकि रात के सन्नाटे में घडी की टिक-टिक से नींद में विघ्न पडेगा। साथ ही आजकल घडियां प्राय: इलेक्ट्रॉनिक सिद्धांत पर कार्य करती हैं और इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों से जो इलेक्ट्रो-मैग्नेनिटक रेडिएशन निकलते हैं वे मस्तिष्क व हृदय के आसपास एक नकारात्मक ऊर्जा क्षेत्र बना देते हैं। इसके प्रभाव में सोना या लेटना आपके स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर डाल सकता है।
3.यह ध्यान रखें कि घडी कभी भी किसी दरवाजे के ऊपर न हो क्योंकि हर बार दरवाजे से अंदर बाहर आते-जाते समय आपका आभामंडल इससे दुष्प्रभावित होगा। परिणामस्वरूप आप तनावग्रस्त हो सकते हैं। यहां तक कि ऐसे दरवाजे से बाहर निकलने के बाद भी मन खिन्न रहेगा।
4.इस बात का हमेशा ध्यान रखें कि घर में मौजूद सभी घडियां सही ढंग से चलती रहें। कोई भी घडी बंद नहीं होनी चाहिए।
5. यह भी याद रखें कि कोई भी घडी अपने समय से पीछे न चले। हो सके तो अपनी घडी को सही समय से पांच-दस मिनट आगे ही रखें क्योंकि वक्त के साथ चलने में ही जीवन की गति, उन्नति व विकास का रहस्य छिपा है।
6. खराब घडी को शीघ्र ही ठीक करवाएं एवं बैटरी खराब होने पर उसे बदलवाती रहें।
7.आजकल कुछ घडियां हर एक घंटे के बाद संगीत या मधुर ध्वनियां उत्पन्न करती हैं। ऐसी घडियों को घर के ब्रह्म स्थान स्थित लॉबी में लगाएं। इससे सकारात्मक ऊर्जा में वृद्धि होती है व परिवार के सभी सदस्यों के जीवन में उन्नति के नए अवसर प्राप्त होते हैं।
8. दीवार घडी पर धूल-मिट्टी जमा न होने दें। नियमित रूप से उसकी सफाई करती रहें।
9. यह ध्यान रखें कि किसी भी घडी का शीशा टूटा हुआ न हो। ऐसी टूटी हुई घडी को बदल देना चाहिए क्योंकि इसका परिवार के सदस्यों पर नकारात्मक प्रभाव पडता है।
10. सिर्फ घडी ही नहीं, बल्कि कैलेंडर जैसी समय सूचक वस्तु के संबंध में भी आपको इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि कैलेंडर फटा हुआ न हो, उस पर कोई अश्लील या हिंसक चित्र भी नहीं होना चाहिए। हर महीने कैलेंडरकी तारीख बदलती रहें और पुराना होते ही उसे हटा दें।
11. बंद घड़ी को हानिकारक माना जाता है।बंद घड़ी नकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती है और पॉजीटिव एनर्जी का प्रभाव कम करती है। घर में बंद घड़ी नहीं रखनी चाहिए। यदि कोई घड़ी बंद है तो उसे तुरंत ही चालु करें अन्यथा उसे घर से हटा दें। फेंगशुई की मान्यता है बंद घड़ी से घर में धन की आवक भी प्रभावित होती है।घड़ी ऐसी जगह लगानी चाहिए जहां से सभी को आसानी से दिखाई दे सके।
12. घड़ी ऐसी जगह लगानी चाहिए जहां से सभी को आसानी से दिखाई दे सके।
13. यदि कोई घड़ी बंद है तो उसे तुरंत ही चालु करें अन्यथा उसे घर से हटा दें। फेंगशुई की मान्यता है बंद घड़ी से घर में धन की आवक भी प्रभावित होती है।
14. किसी भी हॉल में बंद घड़ी या बहुत पुरानी अनुपयोगी वस्तुएं न रखें।
15. अगर आपके घर में बहुत दिनों से बंद घड़ी है तो उसे हटा दें बंद घड़ी घर में आते हुए पैसों को रोक देती है।
16. बेड के सिरहाने वाली दीवार पर घड़ी, फोटो फ्रेम आदि नहीं लगायें, इससे सिर में दर्द बना रहता है। अच्छा होगा यदि आप बेड के ठीक सामने वाली दीवार पर कुछ मत लगायें। इससे मन की शांति बनी रहती है।
17. घड़ी पूर्व या उत्तर की दीवार पर लगाएँ।